गर्मी के बढ़ते प्रकोप और ऊर्जा संकट के बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने “पीएम मोदी एसी योजना 2025” की घोषणा की है। इस योजना का उद्देश्य आम जनता को किफायती और ऊर्जा दक्ष एयर कंडीशनर उपलब्ध कराना है, जिससे न केवल बिजली की बचत होगी, बल्कि पर्यावरण पर भी सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।
सरकार की रिपोर्ट के अनुसार, 2021-22 में 84 लाख एसी बिके थे, जो 2023-24 में बढ़कर 1.1 करोड़ हो गए। इससे बिजली की खपत में वृद्धि हुई है और ग्रिड पर दबाव बढ़ा है। इस समस्या के समाधान के लिए सरकार ने इस योजना की शुरुआत की है।
इस योजना के तहत, पुराने और अधिक बिजली खपत करने वाले एसी को हटाकर नए, 5-स्टार रेटिंग वाले एनर्जी सेविंग एसी खरीदने पर छूट दी जाएगी। इसके लिए सरकार ने पावर मंत्रालय और ऊर्जा दक्षता ब्यूरो के साथ मिलकर योजना तैयार की है। इसका उद्देश्य India Cooling Action Plan जैसे दीर्घकालिक योजनाओं के साथ तालमेल बिठाना है।
योजना के लाभार्थियों को कुछ विशेष फायदे मिलेंगे:
- पुराने एसी को सर्टिफाइड रीसाइक्लिंग सेंटर पर जमा करने पर नया एसी खरीदने पर छूट का सर्टिफिकेट मिलेगा।
- बड़े ब्रांड जैसे Blue Star, Voltas, LG आदि पुराने एसी के बदले नया एसी खरीदने पर ग्राहकों को छूट देंगे।
- सरकार बिजली वितरण कंपनियों के साथ मिलकर नया एसी खरीदने वाले ग्राहकों को बिजली बिल में छूट देने पर विचार कर रही है।
उदाहरण के तौर पर, दिल्ली में BSES एक स्कीम चला रहा है, जिसके तहत पुराने 3-स्टार रेटिंग वाले एसी को देने के बाद जब लोग 5-स्टार रेटिंग वाला नया एसी खरीदते हैं, तो उन्हें नए एसी पर 60 प्रतिशत तक की छूट मिल सकती है, बशर्ते एसी चालू हालत में हो और प्रति CA नंबर 3 यूनिट को बदला जा सकता है।
सरकार ने ‘मेक इन इंडिया’ को बढ़ावा देने के लिए एसी और एलईडी लाइट्स के लिए 6,238 करोड़ रुपये की पीएलआई स्कीम को मंजूरी दी है। इससे 4 लाख नई नौकरियों के अवसर पैदा होंगे और देश में मैन्युफैक्चरिंग को ग्लोबल स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाया जाएगा।
इस योजना से न केवल उपभोक्ताओं को आर्थिक लाभ होगा, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी मदद मिलेगी। सरकार का यह कदम ऊर्जा संकट से निपटने और सतत विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है।